जब से तुमसे मिली हूँ मैं कान्हा
तेरी यादों में गुम रहती हूं
धक धक धड़कन पे बजती है बंसी की धुन
मैं तो रातों में गुम रहती हूं
तेरी बातें बहुत ही प्रेम भरी हैं
तेरी बातों में गुम रहती हूं
कैसा तेरी नजर का जादू हुआ है
तेरी आँखों में गुम रहती हूं
अब तो तेरे भरोसे है जीवन मेरा
तेरे वादों में गुम रहती हूं
माला चौधरी